हिंदू धर्म में कन्या को देवी का स्वरूप माना जाता है और नवरात्रि के अंतिम दिनों में नौ कन्याओं को भोजन कराकर उनका पूजन किया जाता है। यह परंपरा हमें यह संदेश देती है कि हर नारी में देवी का वास है और उसका सम्मान करना हमारा कर्तव्य है। हालांकि लोग कन्या पूजन के मौके पर नन्ही बच्चियों को तो स्नेह और सम्मान देते हैं लेकिन महिलाओं को सम्मान देना भूल जाते हैं। कन्या पूजन से इस बात को समझें कि हर महिला सम्मान योग्य है। यहां आपको नारी सम्मान के लिए कुछ आचरणों को अपने जीवन में शामिल करने के टिप्स दिए जा रहे हैं।
नारी सम्मान के लिए अपनाएं ये आचरण
समानता का भाव
महिलाएं पुरुषों या परिवार में किसी से भी कम नहीं हैं। आपको उन्हें बराबरी का दर्जा देना चाहिए। महिलाओं को परिवार, कार्यस्थल और समाज में समान अधिकार मिलें, यह सुनिश्चित करें।
समान अवसर
बेटियों को समान अवसर दें। शिक्षा, करियर और जीवन के हर क्षेत्र में लड़कियों को प्रोत्साहित करें ताकि वे आत्मनिर्भर बन सकें।
सुरक्षा को प्राथमिकता दें
महिला सुरक्षा हर नागरिक की प्राथमिकता होनी चाहिए। ये केवल परिवार तक सीमित नहीं बल्कि समाज को भी महिलाओं के प्रति सम्मानजनक वातावरण बनाएं।
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कार्यस्थल पर महिलाओं को सहयोग
दफ्तर या किसी भी कार्यक्षेत्र में महिलाओं को समान अवसर, सम्मान और सहयोग दें।
फैसलों का सम्मान
आपका आचरण ऐसा होना चाहिए जिसमें महिलाओं के फैसलों का सम्मान शामिल हो। महिलाओं की इच्छाओं और फैसलों को समझें और उनकी स्वतंत्रता का समर्थन करें।